कोई भी बाप ऐसा ना करे! बर्थडे पर ऑटिस्टिक बेटे को पिलाई शराब; पत्‍नी से तलाक का चल रहा है मामला

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Husband Wife Controversy: मुंबई की एक सत्र अदालत ने एक व्यक्ति को अग्रिम जमानत दे दी, जिस पर अपने 10 साल के ऑटिस्टिक बेटे को शैंपेन पिलाने का आरोप था। यह आरोप व्यक्ति की पत्नी ने लगाया, जो उससे अलग रह रही है और तलाक की प्रक्रिया चल रही है। दोनों के बीच बेटे की कस्टडी को लेकर भी कानूनी लड़ाई जारी है।

घटना जून 2022 की बताई जाती है, जब व्यक्ति ने बेटे का जन्मदिन मुंबई के एक रेस्टोरेंट में मनाया था। पत्नी का दावा है कि इस दौरान बच्चे को शैंपेन पिलाई गई, जबकि पति ने इसे फ्रूट ड्रिंक बताया। मामला तब और गंभीर हो गया जब पति की मां ने बॉम्बे हाई कोर्ट में अपनी अंतिम इच्छा के लिए अपील की थी, जिसके बाद पत्नी ने पुलिस में FIR दर्ज कराई।

आरोपी को अग्रिम जमानत दे गई

पति के वकील स्वप्न कोडे ने आरोप को बदले की भावना से प्रेरित बताते हुए जमानत की मांग की, जिसे अदालत ने स्वीकार कर लिया। जज सुनील पाटिल ने पाया कि FIR देर से दर्ज की गई थी और बच्चे को कोई दुष्प्रभाव नहीं हुआ था। कोर्ट ने संभावित बदले की भावना का जिक्र करते हुए आरोपी को अग्रिम जमानत दे दी।

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शैंपेन नहीं फ्रूट ड्रिंक- शख्स का वकील 

 शख्स का पक्ष रख रहे वकील स्वप्न कोडे ने हिरासत की मांग का विरोध करते हुए कहा कि बच्चे को शैंपेन नहीं पिलाया गया था, बल्कि फ्रूट ड्रिंक दिया गया था। साथ ही, कोडे ने कहा कि उनके मुवक्किल के खिलाफ यह मामला सिर्फ बदले की भावना से दर्ज कराया गया, क्योंकि उसकी मां ने उसके पिता की अंतिम इच्छा के लिए बॉम्बे हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था। कोडे ने कोर्ट के सामने यह तथ्य भी रखा कि महिला ने पहले भी इसी मुद्दे को उठाते हुए रायगढ़ में बाल कल्याण समिति (CWC) से संपर्क किया था। 

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CWC ने माता-पिता को लगाई फटकार

लेकिन CWC ने इस तरह से लड़ने के लिए माता-पिता (महिला और उसके पति) दोनों को फटकार लगाई थी, जिसके बाद महिला ने शिकायत वापस ले ली थी। दोनों पक्षों को सुनने के बाद, न्यायाधीश सुनील पाटिल ने पाया कि शख्स के खिलाफ एफआईआर काफी देर से दर्ज कराई गई थी और बच्चे ने सीडब्ल्यूसी को बताया था कि तरल पदार्थ पीने के बाद उसे कोई दुष्प्रभाव नहीं हुआ था। एक पक्ष उसे शरबत बता रहा है और दूसरा पक्ष शैंपेन। मामले में बदले की भावना से एफआईआर दर्ज कराने की संभावना से इनकार नहीं करते हुए कोर्ट ने शख्स को अग्रिम जमानत दे दी।’

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